वॉशिंगटन: अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने मंगलवार को कहा कि उन्हें H-1B विदेशी श्रमिक वीजा पर दोनों पक्षों की बहस पसंद है। ट्रंप ने अपने बयान में यह भी कहा कि वह ‘बहुत सक्षम लोग’ देश में लाना चाहते हैं। ट्रंप ने व्हाइट हाउस में एक ज्वाइंट प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा, ‘मैं दोनों पक्षों की बहस को पसंद करता हूं, लेकिन मैं यह भी चाहता हूं कि हमारे देश में बहुत सक्षम लोग आएं। भले ही ऐसे लोगों का काम उन दूसरे लोगों को ट्रेनिंग देना और उनकी मदद करना हो, जिनके पास उनके जैसी योग्यताएं नहीं हैं।’
‘मैं एच1बी वीजा को रोकना नहीं चाहता’
ट्रंप ने आगे कहा, ‘लेकिन मैं यह नहीं चाहता कि हम इसे रोकें। और मैं सिर्फ इंजीनियरों की बात नहीं कर रहा, मैं हर स्तर के लोगों की बात कर रहा हूं।’ राष्ट्रपति अपने समर्थकों के बीच चल रही H-1B वीजा पर बहस पर प्रतिक्रिया दे रहे थे। उनके करीबी सहयोगी और टेस्ला के मालिक एलन मस्क H-1B वीजा का समर्थन करते हैं, क्योंकि इसके चलते योग्य तकनीकी पेशेवर अमेरिका आते हैं। वहीं, ट्रंप के कई समर्थक इसका विरोध करते हैं, और उनका कहना है कि इससे अमेरिकी नागरिकों से नौकरियां छिनती हैं।
‘हमें गुणवत्ता वाले लोग देश में लाने होंगे’
ट्रंप ने कहा, ‘हम चाहते हैं कि हमारे देश में सक्षम लोग आएं। और H-1B, मैं इस कार्यक्रम को बहुत अच्छे से जानता हूं। मैं खुद इसका इस्तेमाल करता हूं। आपको सबसे अच्छे लोगों की जरूरत होती है। लैरी (एलिसन), उन्हें इंजीनियरों की जरूरत है, मासा (सोम) को भी इंजीनियरों की जरूरत है। उन्हें आज इंजीनियरों की सबसे ज्यादा जरूरत है। तो, हमें गुणवत्ता वाले लोग देश में लाने होंगे। अब जब हम ऐसा करेंगे तो हमारे व्यापार का विस्तार होगा और यह सभी की मदद करेगा। इसलिए मैं दोनों पक्षों की बहस को पसंद करता हूं।’
भारत पर क्या हो सकता है असर?
ट्रंप के बयान को देखते हुए लगता है कि वह H1B वीजा में कांट-छांट नहीं करने वाले हैं, यह जरूर हो सकता है कि योग्यता का पैमान थोड़ा कठिन हो जाए। ऐसे में भारत को नुकसान होने की उम्मीद कम ही है क्योंकि तमाम क्षेत्रों में भारत के प्रोफेशनल्स दुनिया में सबसे अच्छे माने जाते हैं। हालांकि यह देखना दिलचस्प होगा कि H1B वीजा को लेकर ट्रंप की योजना जमीन पर कैसे उतरती है। मस्क का H1B वीजा के समर्थन में होना इसको लेकर अमेरिकी सरकार के फैसले पर बड़ा असर डाल सकता है।