इस्लामाबाद: 1947 में भारत और पाकिस्तान दो अलग मुल्क बन गए थे लेकिन भारतीय परंपरा और भारतीय त्योहार आज भी पाकिस्तान में मनाए जाते हैं, इनमें होली का पर्व प्रमुख है। पाकिस्तान में भी भारत की तरह ही होली मनाई जाती है। पाकिस्तान में होली के दिन लोग एक दूसरे पर रंग डालते हैं। भारत की तरह ही पाकिस्तान में भी होली के दिन पकवान बनाए जाते हैं। इस बीच पाकिस्तान के राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी और पूर्व विदेश मंत्री बिलावल भुट्टो जरदारी ने रविवार को देश में हिंदू समुदाय को होली की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि यह त्योहार धार्मिक या सांस्कृतिक मतभेदों से परे साझा मानवता की याद दिलाता है। राष्ट्रपति जरदारी ने होली के अवसर पर अपने संदेश में हिंदू समुदाय को शुभकामनाएं दीं। आसिफअली जरदारी (68) ने कहा कि होली का त्योहार बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतीक है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान के हिंदू समुदाय ने देश के लिए सराहनीय काम किया है।
धार्मिक स्वतंत्रता की गारंटी देता है पाकिस्तान
पाकिस्तान के राष्ट्रपति ने कहा कि पाकिस्तान का संविधान धार्मिक स्वतंत्रता की गारंटी देता है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान सभी धर्मों के लोगों का एक खूबसूरत गुलदस्ता है। उन्होंने कहा कि देश के लोग एकजुटता के माध्यम से अभूतपूर्व ऊंचाइयों और समृद्धि तक पहुंच सकते हैं और दुनिया के मानचित्र पर पाकिस्तान का नाम रोशन कर सकते हैं।
समावेशिता को बढ़ावा देते हैं ऐसे उत्सव
‘द एक्सप्रेस ट्रिब्यून’ अखबार की खबर के अनुसार, पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के अध्यक्ष बिलावल ने एक बयान में देश के भीतर विविध सांस्कृतिक परंपराओं के लिए समावेशिता और सम्मान को बढ़ावा देने के महत्व पर प्रकाश डाला। राष्ट्रपति जरदारी के बेटे बिलावल ने कहा कि इस तरह के उत्सव राष्ट्र के भीतर समावेशिता को बढ़ावा देते हैं। बिलावल ने पाकिस्तान की आबादी के बीच आपसी समझ और एकजुटता की हिमायत करते हुए सामाजिक सद्भाव की आवश्यकता पर जोर दिया। जनगणना के मुताबिक, मुस्लिम बहुल पाकिस्तान में हिंदुओं की कुल आबादी 2.14 फीसदी है। भाषा
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