यूपी के कई जिलों में जंगली जानवरों का आतंक जारी है। बहराइच में जहां आदमखोर भेड़िए लगातार हमले कर रहे हैं वहीं बिजनौर में गुलदार का आतंक बना हुआ है। इस साल यहां गुलदार के हमले में चार लोग जान गंवा चुके हैं। तीन जानें हाल-फिलहाल गई हैं। सीतापुर, लखीमपुर खीरी, पीलीभीत में भी जंगली जानवरों का डर बना हुआ है। वहीं महाराजगंज में भी आबादी के बीच तेंदुआ देखा गया है। इन हालात के बीच वन मंत्री अरुण कुमार सक्सेना का एक बयान चर्चा में आ गया है। सोमवार को बिजनौर पहुंचे वन मंत्री ने कहा कि पिछले साल के मुकाबले स्थिति बेहतर है। पिछले साल मौतें ज्यादा हुईं थीं। दरअसल, वन मंत्री आंकड़ों के आधार पर बता रहे थे कि बिजनौर में पिछले साल के मुकाबले इस साल कम मौतें हुई हैं। वहां पिछले साल जनवरी से दिसम्बर तक गुलदार के हमले में 21 मौतें हुई थीं जबकि इस साल अभी तक चार मौतें हुई हैं। वन मंत्री की यह बात बिजनौर के संदर्भ में भले सही हो लेकिन सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे उनके बयान में यह संदर्भ पीछे छूट गया। प्रदेश के अलग-अलग जिलों में जंगली जानवरों के बढ़ते हमलों के बीच सामने आया उनका बयान लोगों को अजीबोगरीब लगा। उधर, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वन्य जीव-मानव संघर्ष पर सख्त रुख अख्तियार करते हुए संवेदनशील जिलों में पर्याप्त सुरक्षा इंतजाम करने के निर्देश दिए हैं। उनके निर्देश पर मंगलवार को वन मंत्री बहराइच जा रहे हैं जहां भेड़ियों के हमले में कई जानें जा चुकी हैं।
सीएम योगी ने सोमवार को खुद एक हाईलेवल मीटिंग में जानवरों के हमलों की घटनाओं और बचाव के इंतजामों की समीक्षा की। उन्होंने संवेदनशील जिलों को अलर्ट रहने के निर्देश दिए हैं। सोमवार को बिजनौर पहुंचे वन मंत्री अरुण कुमार सक्सेना ने अधिकारियों की बैठक के दौरान कहा कि हमें जिले में हो रही मानव गुलदार की घटनाओं को सभी के सहयोग से रोकना है। इसमें सभी विभागों को समन्वय से कार्य करना होगा। कहा कि मानव-गुलदार संघर्ष घटनाओं को रोकने के लिए प्रभावित क्षेत्रों में संबंधित विभाग हर समय सतर्कता रखते हुए प्रशिक्षित वनकर्मियों की क्विक रिस्पांस टीम गठित कर तत्काल मौके पर भेजा जाए।
सोमवार को महात्मा विदुर सभागार में राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) वन एवं पर्यावरण मंत्री डा. अरुण कुमार सक्सेना ने मानव वन्यजीव संघर्ष निवारण को लेकर अधिकारियों की मीटिंग ली। उन्होंने जिले में हो रही मानव और गुलदार संघर्ष की घटनाओं पर चिंता व्यक्त की। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री जिले में प्रतिदिन हो रही मानव गुलदार की घटनाओं लिए काफी चिंतित हैं। उन्होंने निर्देशित किया कि सभी विभाग जिम्मेदारी के साथ अपने-अपने स्तर से मानव गुलदार की घटनाओं को रोकने का प्रयास करें।
उन्होंने निर्देश दिए कि विशेष कर प्रभावित क्षेत्रों को दृष्टिगत रखते हुए सीसीटीवी कैमरों की संख्या बढ़ाना सुनिश्चित करें। उन्होंने जन मानस के लिए खतरनाक साबित हो रहे गुलदारों को पकडऩे के लिए पिंजरे लगाने और प्रभावित क्षेत्रों में वन कर्मियों की सघन गश्त सुनिश्चित करने के निर्देश दिए।
संवेदनशील स्थानों पर बिजली की कटौती न करने के निर्देश
उन्होंने विद्युत विभाग के अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए की संवेदनशील स्थानों में बिजली की कटौती कदापि ना की जाए। गुलदार हमले की दृष्टिगत उन्होंने कहा कि जहां दिन में बिजली की आवश्यकता रहती है वहां दिन में बिजली प्रदान की जाए। जिससे वहां रहने वाले लोग दिन में ही अपने सभी कार्य पूर्ण कर सकें। उन्होंने निर्देश दिए कि ड्रोन कैमरे और बढाएं जायें।