रेणुकूट (अमिताभ मिश्रा)
रेणुकूट। रिहंद बांध का जलस्तर रविवार की सुबह 8 बजे तक 845.5 फीट तक पहुंच गया है, बांध के कंट्रोल रूम से मिली जानकारी के मुताबिक बीते वर्ष बांध का जलस्तर आज ही के दिन 4 अगस्त को 839.7 फीट था। बीते दो दिनों से हुई अच्छी बारिश से बांध का जलस्तर 24 घण्टे में ही 6.50 फीट बढ़ गया है।एशिया के विशालतम बांधों में एक रिहंद बांध का जलस्तर दो दिनों की बारिश में ही 6:50 फीट बढ़ गया है।बरसात की शुरुआत में जहां बांध का जलस्तर 832 फीट तक आ गया था वही डेढ़ माह के बारिश में बांध का जलस्तर मात्र 6:50 फ़ीट ही बढ़ा था।वही 2 दिनों से हो रही जबरदस्त बारिश से ही बांध का जलस्तर 6:50 फ़ीट बढ़ गया, जिससे बांध प्रशासन भी काफी राहत महसूस कर रहा है।अभी बरसात का मौसम बाकी है इसलिए उम्मीद की जा रही है कि इस वर्ष बांध भर जाएगा।बांध की अधिकतम जलक्षमता 870 फीट है,जलस्तर 871 फ़ीट पहुंचने के बाद उसके फाटक खुलते हैं परंतु बीते कई वर्षों से बांध में पर्याप्त पानी न होने से बांध के फाटक नहीं खुले हैं।बांध का मुख्य कैचमेंट एरिया छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश है उधर बारिश अच्छी होने से ही इसमें ठीक-ठाक जल भराव होता है।बीते दो दिनों से हो रही अच्छी बारिश से इस बार बांध का जलस्तर अभी और बढ़ने की उम्मीद है।रेणुकूट-बीजपुर मार्ग पर जरहा में अजीरेश्वर मंदिर के समीप स्थित पुल पर अजीर नदी का पानी शनिवार की दोपहर बाद पुल के ऊपर से बहता रहा और कई घंटे तक इस मार्ग पर यातायात बाधित रहा। शनिवार की दोपहर 2 बजे तक बांध का जलस्तर 838.8 फ़ीट था, वहीं शाम 5 बजे तक मात्र 839 फीट तक की पहुंच सका था।रविवार की सुबह 8 बजे बांध प्रशासन ने जलस्तर नापा तो यह 845.5 फीट तक पहुंच गया था। इस तरह देखा जाए तो बरसात की शुरुआत में जहां डेढ़ माह तक मात्र 6.50 फीट पानी बांध में आया था, वही मात्र 15 घंटे में ही बांध का जलस्तर 6:50 फीट बढ़ गया। छत्तीसगढ़ और मध्यप्रदेश में हुई अच्छी बारिश के कारण बांध में लगातार पानी आ रहा है और आने वाले दो-तीन दिनों में बांध का जलस्तर 850 फीट तक पहुंचने की संभावना लग रही है।बांध प्रशासन के मुताबिक वर्तमान में विद्युत उत्पादन के लिए एक भी टरबाइन नहीं चलाई जा रही है जिससे उत्पादन नहीं हो रहा है, बांध में और पानी आने पर ही जरूरत पड़ने पर टरबाइन चलाकर विद्युत उत्पादन किया जाएगा।