आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस वे पर सोमवार देर शाम सवारियों से भरी डबल डेकर बस डिवाइडर तोड़कर पलट गई। हादसे में करीब 70 यात्री घायल हो गए। हादसे की सूचना पर तहसीलदार मयफोर्स मौके पर पहुंचे। आनन-फानन में 45 यात्रियों को अलग-अलग अस्पतालों में भर्ती कराया गया जबकि अन्य को प्राथमिक इलाज के बाद छुट्टी दे दी गई। बस बिहार से 106 मजदूरों को लेकर पंजाब जा रही थी। हादसे का कारण चालक को झपकी आना माना जा रहा है।
बताया जा रहा है कि बस के पलटते ही एक्सप्रेस-वे पर दोनों लेनों पर यातायात थम गया। यात्रियों की चीख-पुकार सुनकर आसपास के लोग भी दौड़ पड़े। यूपीडा के बचाव कर्मी ग्रामीणों के मदद से घायलों को बस से निकालने में जुट गए। तब तक सूचना पर पहुंची पुलिस ने मोर्चा संभाला। बड़े हादसे की सूचना मिलते ही पूरा प्रशासनिक अमला सतर्क हो गया। तहसीलदार अभिमन्यु कुमार, नायब तहसीलदार भरत मौर्य और सीओ कमेलश कुमार थाना प्रभारी शशिकांत कनौजिया के साथ घटनास्थल पहुंच गए।
यूपीडा के अलावा करीब 40 एम्बुलेंस को घटनास्थल के लिए रवाना किया गया। एंबुलेंस से घायलों को सीएचसी तालग्राम, सौरिख में भर्ती कराया गया। यहां से गंभीर घायलों को तिर्वा मेडिकल कॉलेज रेफर कर दिया गया है। जहां से दो लोगों को अतिगंभीर हालत में कानपुर रेफर किया गया है। तहसीलदार अभिमन्यु कुमार ने हादसे के संबंध में पंजाब के रूप नगर निवासी सहायक बस चालक मनमोहन सिंह से जानकारी भी ली। मनमोहन सिंह ने बताया कि बस बिहार से करीब 106 मजदूर लेकर पंजाब जा रही थी। पटियाला निवासी कुलदीप सिंह बस चला रहा था। सोमवार की देर शाम किमी संख्या 163 पर बेहटा गांव के करीब बस अचानक अनियंत्रित होकर पलट गई। कोई कुछ समझ ही नहीं पाया। चीख-पुकार मच गई।