यूपी के छोटे शहरों में भी बड़े शहरों जैसी बेहतर सुविधाएं योगी सरकार देगी। बेतरतीब यातायात व्यवस्था में सुधार लाने के लिए ट्रैफिक इंजीनियर रखे जाएंगे। इनका काम शहरों में जाम और वाहनों की संख्या को देखते हुए यातायात व्यवस्था में सुधार लाने का प्लान तैयार करना होगा।
योगी सरकार छोटे शहरों यानी नगरपालिका परिषदों में रहने वालों को भी बड़े शहरों की तरह बेहतर सुविधाएं देनी जा रही है। बेतरतीब यातायात व्यवस्था में सुधार लाने के लिए ट्रैफिक इंजीनियर रखे जाएंगे। इनका काम शहरों में जाम और वाहनों की संख्या को देखते हुए यातायात व्यवस्था में सुधार लाने का प्लान तैयार करना होगा। इसके आधार पर शहरों में सड़कों की चौड़ाई के साथ ही चौराहे कैसे बनाए जाएंगे इसे तय किया जाएगा।
केंद्र सरकार छोटे शहरों के रहने वालों के जीवन स्तर में सुधारने लाने के लिए कई योजनाएं चला रही है। बड़े शहरों में तो जरूरत के आधार पर अधिकारियों और कर्मचारियों को रखा गया है, लेकिन छोटे शहरों खासकर नगर पालिका परिषदों में ऐसा नहीं है। इसके चलते केंद्र सरकार से मिलने वाली योजनाओं का लाभ ठीक से नहीं मिल पा रहा है। नगर विकास विभाग ने इसी को ध्यान में रखते हुए छोटे शहरों में अधिकारियों के साथ अभियंताओं के पद स्वीकृत किए हैं।
शासन का मानना है कि इन पदों पर भर्तियां हो जाने के बाद प्रस्ताव बनाना आसान हो जाएगा, जिससे बजट मिलने में आने वाली बाधा दूर हो जाएगी। इसी को ध्यान में रखते हुए नगर पालिका परिषदों में यूपी पालिका ट्रैफिक और ट्रासंपोर्ट अभियंता रखने का फैसला किया गया है। पहले चरण में हर पालिका परिषद में एक-एक अभियंताओं को रखा जाएगा और बाद में जरूरत के आधार पर पदों की संख्या में बढ़ोत्तरी की जाएगी।
इसके साथ ही शहरी सफाई व्यवस्था को बेहतर बनाने के लिए सैनिटेशन अधिकारियों को रखा जाएगा। श्वानों और आवारा पशुओं की देखरेख व पशु स्वास्थ्य केंद्र चलाने के लिए पशु चिकित्सकों को रखा जाएगा। अभी तक नगर निगमों में ही पशु चिकित्सक रखे जाने की व्यवस्था है। स्ट्रीट लाइट की व्यवस्था को ठीक कराने के लिए विद्युत यांत्रिक अभियंताओं को रखा जाएगा।