अनपरा में हिण्डालको रेनुसागर के ग्रामीण विकास विभाग ने किसानों के लिए एक कृषि कार्यशाला आयोजित की। प्रोफेसर गुरु प्रसाद सिंह ने जैविक खाद के उपयोग और मिट्टी की नियमित जांच के महत्व पर जोर दिया।…
अनपरा,संवाददाता। हिण्डालको रेनुसागर के ग्रामीण विकास विभाग द्वारा किसानों को तकनीकी जैविक खेती के प्रति जागरूक करने के लिये एक कृषि कार्यशाला का आयोजन किया। वरिष्ठ कृषि वैज्ञानिक एवं राष्ट्रीय दुग्ध विकास बोर्ड स्वतंत्र निदेशक काशी हिंदू विश्वविद्यालय प्रोफेसर गुरु प्रसाद सिंह ने किसानों को सम्बोधित करते हुए कहा कि ज्यादा से ज्यादा जैविक खाद का प्रयोग करें। इससे खेतों की उर्वरा शक्ति कायम रहेगी और खेत अधिक पैदावार देंगे। कहा कि किसानों को समय-समय पर मिट्टी की जांच कराते रहना चाहिये जिससे मिट्टी में होने वाली कमियों को पता कर दूर किया जा सकें। उत्तम खेती करने में असहजता तकनीकी ज्ञान की कमी है। कहा कि टिकाऊ और मुनाफे की खेती मौजूदा समय की जरूरत है। उपयुक्त बीजों और जैविक खाद एवं कीटनाशकों का संतुलित उपयोग कर लागत को सीमित रखा जा सकता है। कृषि नवाचार, कृषि विविधीकरण एवं एकीकृत कृषि पद्धति,कोआपरेटिव सिस्टम,ग्रीन सेट,पाली हाउस,इंट्रीग्रेटेड फॉर्मिंग,घरेलू कीटनाशक,जैविक खाद, नर्सरी मूल्य संवर्द्धन, वैल्यू चेन तथा बिजनेस मॉडल्स, टिकाऊ खेती के लिए वैकल्पिक पद्धति, स्मार्ट खेती और पॉलिसी एडवोकेसी पर विस्तृत जानकारी दी । गरबन्धा,परासी,रणहोर एवं मकरा के सैकड़ो किसानो ने कार्यशाला में भाग लिया। रेनुसागर ग्रामीण विकास विभाग प्रभारी अनिल झा ने कृषि वैज्ञानिक प्रोफेसर गुरु प्रसाद सिंह का स्वागत करते हुये संक्षिप्त परिचय दिया। संचालन संजीव श्रीवास्तव एवं राजनाथ यादव ने आभार व्यक्त किया