ऐप पर पढ़ें
Ghaziabad Fake Robbery Case : गाजियाबाद के निवाड़ी में महिला को बंधक बनाकर दिनदहाड़े फर्जी डकैती की घटना का पुलिस ने शनिवार को खुलासा कर दिया। पुलिस के मुताबिक, मायके की आर्थिक तंगी दूर करने के लिए खुद महिला ने ही माता-पिता के साथ मिलकर अपने ससुराल में डकैती की योजना बनाई थी। पिता ने जानकार को 20 हजार रुपये देकर वारदात का नाटक करने भेजा था। पुलिस ने चारों को गिरफ्तार कर लिया है।
डीसीपी ग्रामीण विवेक चंद यादव ने बताया कि निवाड़ी कस्बे में सालेनगर मार्ग पर रहने वाले मुकेश त्यागी अपने बेटे दीपक त्यागी, मोहित त्यागी और दीपक की पत्नी दीपिका के साथ रहते हैं। दीपक त्यागी नोएडा की एक निजी कंपनी में नौकरी करते हैं। 10 अप्रैल को दीपक ड्यूटी और मोहित बाहर चला गया, जबकि मुकेश त्यागी खेत में थे। दीपिका ने बताया था कि दोपहर 1 बजे दो युवक घर पर आए और मुकेश त्यागी के बारे में पूछकर चले गए। इसके थोड़ी देर बाद ही पांच युवक आए और खाना मांगा।
आरोप था कि दीपिका रसोई में गई तो पांचों युवक उसे बंधक बनाकर रसोई में ले गए। विरोध करने पर बदमाशों ने दीपिका के साथ मारपीट की और फिर नशीली चीज सुंघाकर साढ़े तीन लाख रुपये और 40 तोला सोने के जेवर लूटकर ले गए।
डीसीपी ग्रामीण के मुताबिक, मोहित की शिकायत पर पुलिस द्वारा डकैती का केस दर्ज कर खुलासे के लिए चार टीमें गठित कर दी गई थीं। जांच में पता चला कि डकैती की घटना फर्जी थी। खुद दीपिका ने अपने माता-पिता के साथ मिलकर डकैती की कहानी रची थी। दीपिका के अलावा थाना बागपत के गांव पदेडा निवासी उसकी मां सुनीता त्यागी, पिता योगेंद्र त्यागी के अलावा थाना सिंघावली अहीर जिला बागपत के गांव बसौद निवासी अकबर को गिरफ्तार किया गया, जो योगेंद्र त्यागी का जानकार है। दीपिका के माता-पिता वर्तमान में थाना गंगानगर मेरठ के राधा गार्डन में रहते हैं।
मायके में जेवर पहले ही पहुंचा दिए
दीपिका के पिता योगेंद्र त्यागी के दिल का फिर से ऑपरेशन होना था। पिता के इलाज और मायके को आर्थिक तंगी से उबारने के लिए दीपिका ने माता-पिता के साथ मिलकर फर्जी डकैती की योजना बनाई थी। दीपिका ने अपनी देवरानी, जेठानी और परिवार की अन्य महिलाओं के जेवर करीब डेढ़ महीने पहले ही चोरी कर लिए और मायके ले गई थी। करीब तीन लाख रुपये के जेवर उसने मां के साथ जाकर मेरठ के एक सुनार को बेच दिए थे, जबकि कुछ जेवर मायके में ही रखे।
जानकार को लूट के लिए भेजा
डीसीपी ने बताया कि योगेंद्र त्यागी जिस अस्पताल में अपना इलाज कराता था, वहीं उसकी मुलाकात अकबर से हुई थी। बेटी दीपिका के घर लूट की घटना का नाटक करने के लिए योगेंद्र ने अकबर को 20 हजार रुपये दिए थे। 10 अप्रैल को घटना वाले दिन योगेंद्र ने ही अकबर को बेटी का घर दिखाया था।
खुद हाथ-पैर बंधवाए
डीसीपी ग्रामीण ने बताया कि दीपिका ने पहले ही घर का सामान बिखेर कर लूट का घटनास्थल तैयार कर लिया था। घर आए अकबर से उसने अपने हाथ-पैर बंधवाए और जाते वक्त उसे मोबाइल और देवरानी की बचे हुए जेवर भी दे दिए। ससुरालियों के घर आने पर दीपिका ने डकैती की फर्जी घटना बता दी।