ऐप पर पढ़ें
उत्तर प्रदेश के पूर्वांचल में दशकों तक खौफ का पर्याय रहे माफिया मुख्तार अंसारी की मौत हो गई है। गुरुवार की रात को उसे हार्ट अटैक आ गया था और बांदा मेडिकल कॉलेज में डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। इसे लेकर मुख्तार अंसारी का परिवार हत्या का आरोप लगा रहा है, लेकिन कृष्णानंद राय का परिवार इस घटना से खुश है। भाजपा के विधायक रहे कृष्णानंद राय की 2005 में हत्या कर दी थी और उन पर करीब 500 गोलियां चलाई गई थीं। इस हत्याकांड के बाद से ही मुख्तार अंसारी के बुरे दिन शुरू हुए थे, जबकि वह 1988 से ही राजनीति में सक्रिय था।
मुख्तार अंसारी की मौत के बाद कृष्णानंद राय के परिवार का रिएक्शन भी आया है। उनके बेटे पीयूष राय ने बयान जारी कर कहा कि यह बाबा गोरखनाथ का न्याय है। पीयूष राय ने मीडिया से बातचीत में कहा, ‘आज आप लोगों के माध्यम से यह पता चला है कि माफिया मुख्तार अंसारी की मौत हो चुकी है। मेरा मानना है कि बाबा गोरखनाथ का आशीर्वाद है कि उनके दरबार से यह न्याय सुनने को मिला है। रमजान के पावन महीने में ऐसे अपराधी का यह अंत हुआ है। यह अल्लाह का भी न्याय है। मेरा मानना है कि बाबा गोरखनाथ का आशीर्वाद का मुझे और मेरे परिवार को मिला है। जय गोरखनाथ, जय श्री राम।’
मुख्तार, अतीक, विकास दुबे और मुन्ना… खत्म होते गए माफिया, लंबी लिस्ट
इस बीच कृष्णानंद राय के परिवार के लोग काशी विश्वनाथ धाम भी दर्शन करने के लिए गए हैं। 2005 में कृष्णानंद राय की बेरहमी से हत्या हो गई थी और इससे राजनीति में भूचाल आ गया था। भले ही उस दौर में मुख्तार अंसारी के खिलाफ दर्ज मामले तेजी से आगे नहीं बढ़े, लेकिन 2017 में उत्तर प्रदेश में योगी आदित्यनाथ सरकार के आने के बाद उस पर शिकंजा कसता गया।
पंजाब से यूपी लाया गया था मुख्तार अंसारी
सबसे पहले सुप्रीम कोर्ट में मुख्तार अंसारी को पंजाब से यूपी लाने के लिए अर्जी दाखिल की गई। इसके बाद उसके खिलाफ ट्रायल तेजी से आगे बढ़ाए गए। वह इन दिनों उम्रकैद की सजा काट ही रहा था। लेकिन कई और मामलों में उसे उम्रकैद समेत कई सजाएं और मिल चुकी थीं। अंत में जेल में ही रहने के दौरान उसकी मौत हो गई।