यूपी के शाहजहांपुर में एमबीबीएस के छात्र की मौत के मामले में पिता ने अज्ञात लोगों के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज कराया। रविवार देर रात पोस्टमार्टम के बाद छात्र कुशाग्र प्रताप सिंह का शव लेकर उसके परिवार के लोग गोरखपुर रवाना हो गए। गोरखपुर के शाहपुर के एमआईजी 35 राप्ती नगर फेस 1 निवासी अजय कुमार सिंह एडवोकेट ने बताया कि उनका पुत्र कुशाग्र प्रताप सिंह बंथरा के वरुण अर्जुन मेडिकल कॉलेज में एमबीबीएस द्वितीय वर्ष का छात्र था। 6 अक्टूबर की सुबह 8:45 बजे उन्हें एक मोबाइल नंबर के द्वारा फोन पर कुशाग्र की मौत की सूचना दी गई।
अजय कुमार सिंह ने कॉलेज के हॉस्टल में पहुंचे तो हॉस्टल की गतिविधियां उन्हें संदेहास्पद लगी तथा पहली नजर में ऐसा लगा कि उनके पुत्र को जबरदस्ती फेंका गया या फिर मरा गया था। कुशाग्र के शरीर पर चोट जैसे निशान और अपने बचाव करने के चिन्ह थे। हॉस्टल का सीसीटीवी बंद था और कॉलेज प्रशासन का रवैया असहयोगात्मक था। अजय कुमार सिंह ने शक जताया कि उनके पुत्र की हत्या की गई है तथा घटना को आत्महत्या का रूप देने की कोशिश की जा रही है। उन्होंने बताया कि कुशाग्र ने अपने कुछ साथियों को रुपए भी उधार दे रखे थे। उन्होंने पुलिस के अधिकारियों से निष्पक्ष जांच करते हुए दोषियों को सजा दिलाने की मांग की।
मामले को दबाने में पूरा प्रशासन लिप्त नजर आ रहा है: सूरज
कुशाग्र के चचेरे भाई बैंक अधिकारी सूरज प्रताप सिंह ने कुशाग्र की मौत पर पुलिस एवं प्रशासन पर ही उंगली उठाना शुरू कर दी है। उन्होंने कहा कि आशंका लग रही है कि कुशाग्र को मृत अवस्था में लाकर घटनास्थल पर लिटाया गया है। किसके साथ ही उसके कमरे तथा हॉस्टल से सबूत के साथ छेड़छाड़ लगातार की जा रही है। उन्होंने आरोप लगाया कि पूरा प्रशासन उसके भाई की मौत के मामले को दबाने में लगा हुआ है।
कॉलेज के बाहर खुलेआम बिकते हैं नशीले पदार्थ
लोगों ने बताया कि मेडिकल कॉलेज के छात्रों को बुरी लत लगाने में कहीं न कहीं कॉलेज के बाहर स्थित दुकानदार भी शामिल हैं। चर्चा है कि यही दुकानदार पान पुड़िया की दुकानों पर शराब रखने के साथ-साथ अन्य नशीले पदार्थ भी रखते हैं। यही शराब कॉलेज के छात्रों को सप्लाई अधिक दामों पर की जाती है। कोतवाल राकेश कुमार ने बताया कि अचानक छापा मार कर दुकानों का निरीक्षण किया जाएगा, यदि कोई संदिग्ध वस्तु मिलती है तो उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।