भारत के पैरा जैवलिन थ्रोअर सुमित अंतिल ने सोमवार को पेरिस पैरालंपिक 2024 में कमाल कर दिया। उन्होंने मेन्स जैवलिन थ्रो (एफ 64 वर्ग) का गोल्ड मेडल अपने नाम किया। अंतिल ने 70.59 मीटर दूर भाला फेंककर न सिर्फ गोल्ड हासिल किया ब्लकि अपना पैरालंपिक रिकॉर्ड तोड़ा। अंतिल ने 68.55 मीटर का पैरालंपिक रिकॉर्ड बेहतर किया जो उन्होंने तीन साल पहले टोक्यो में बनाया था। उन्होंने पैरालंपिक में लगातार दूसरा गोल्ड जीता है। वह टोक्यो में भी शीर्ष स्थान पर रहे थे।
26 वर्षीय अंतिल ने इतिहास रच डाला है। वह खिताब डिफेंड करने वाले पहले भारतीय पुरुष खिलाड़ी बन गए हैं। वह खिताब बरकरार रखने वाले कुल दूसरे भारतीय हैं। शूटर अवनि लेखरा पैरालंपिक खिताब बरकरार रखने वाली पहली भारतीय खिलाड़ी हैं। उन्होंने टोक्यो के बाद पेरिस में भी गोल्ड जीता। भारत के खाते में अब कुल 14 मेडल हो गए हैं। सुमित ने पेरिस में भारत को तीसरा गोल्ड दिलाया है। सुमित, अवनि के अलावा बैडमिंटन प्लेयर नितेश कुमार ने गोल्ड पर कब्जा जमाया।
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अंतिल फाइनल मुकाबले में शुरुआत से ही आत्मविश्वास से भरे हुए नजर आए। उन्होंने अन्य खिलाड़ियों को हावी होने का कोई मौका नहीं दिया। उन्होंने पहला थ्रो 69.11 मीटर का फेंका और टोक्यो के बेस्ट को पीछा छोड़ा। उन्होंने दूसरे प्रयास में 70.59 मीटर का थ्रो किया और अपना ही रिकॉर्ड तोड़ डाला। अंतिल ने तीसरे अटेम्पट में 66.66 मीटर दूरा भाला फंका और चौथा फाउल हो गया। भारतीय एथलीट का पांचवां थ्रो 69.04 मीटर और छठा यानी आखिरी 66.57 मीटर का रहा।
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श्रीलंका के दुलान कोडिथुवाक्कू ने 67.03 मीटर के थ्रो के साथ सिल्वर जीता। ऑस्ट्रेलिया के मिशल बुरान ने 64.89 मीटर के साथ कांस्य पदक हासिल किया। भारत के संदीप चौधरी चौथे स्थान पर रहे। उन्होंने 62.80 मीटर का थ्रो किया। 73.29 मीटर का वर्ल्ड रिकॉर्ड सुमित के नाम दर्ज है। एफ64 वर्ग में वे खिलाड़ी होते हैं जिनके पैरों में विकार होता है । वे या तो कृत्रिम पैर के साथ खेलते हैं या उनके पैरों की लंबाई में फर्क होता है।